नाटो के महासचिव मार्क रूत्ते ने रूस पर पश्चिमी देशों के सैन्य और रक्षा ढांचे में तोड़फोड़ के आरोप लगाते हुए कहा है कि मॉस्को अब भी बेहद ख़तरनाक है।
स्लोवेनिया में नाटो सदस्य देशों की 71वीं संसदीय बैठक को संबोधित करते हुए रूत्ते ने कहा, “हमें रूस के ख़तरे को कम नहीं आंकना चाहिए, लेकिन उसकी क्षमताओं को भी ज़रूरत से ज़्यादा नहीं समझना चाहिए। रूस उतना ही ताक़तवर है जितना वो दिखाता है और उतना ही ख़तरनाक भी।”
रूत्ते ने दावा किया कि रूस यूरोपीय समाज में गुप्त अभियानों और साइबर हमलों के ज़रिए यूक्रेन के लिए पश्चिमी समर्थन को कमजोर करने की कोशिश कर रहा है। उनके मुताबिक, रूस के निशाने पर केवल रक्षा उद्योग और सैन्य ठिकाने ही नहीं, बल्कि सार्वजनिक क्षेत्र की ढांचागत सुविधाएँ भी शामिल हैं।
नाटो प्रमुख ने बताया कि कनाडा और यूरोपीय सदस्य देश अपनी रक्षा बजट में वृद्धि कर रहे हैं और नाटो, यूक्रेन की सैन्य सहायता और हथियार उत्पादन बढ़ाने पर काम कर रहा है। उन्होंने कहा कि एक नई योजना के तहत अमेरिका ने 2 अरब डॉलर के सैन्य उपकरण यूक्रेन को “जंग में टिके रहने” और “जानें बचाने” के लिए उपलब्ध कराए हैं।
रूत्ते ने ग़ज़्ज़ा में युद्धविराम समझौते को “शांति और स्थिरता का एक अच्छा दिन” बताते हुए उम्मीद जताई कि एक दिन मध्य पूर्व की तरह यूरोप में भी स्थायी शांति स्थापित होगी।
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